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चाह ( इच्छा)

            

            चमकती है हमारी किस्मत सितारों जैसे,

                  फिर भी हैं हम भिखारी जैसे।

                 खुशियां है जीवन में बहारों की,

                फिर भी दिल में उदासी है वीरानों सी।  

                 नहीं मांगते कुछ भी,

                बस थोड़ा सा प्यार चाहिए।

               दिल को सुकून आए जिसमे ,

                 बस इतना करार चाहिए।

                   नहीं चाह दौलत की, 

                प्यार के मोती हजार चाहिए।

                 प्यार ही प्यार हो जहां, 

              इतना प्यारा एक संसार चाहिए।

             प्यार से बीत जाए जिसमे जिंदगी,

                 ऐसा एक आधार चाहिए।

                 प्यार से प्यारा है जो, 

             ऐसा साथी बार – बार चाहिए।।

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